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अमेरिका के पिट्सबर्ग में अश्वेत सिंगल मदर्स ने समूह बनाकर एक दूसरे को ब्रेक देना शुरू कर दिया है। ये कामकाजी महिलाएं एक दूसरे की जरूरतों और सहूलियतों के हिसाब से आपस में सांजस्य बैठाती हैं। जब जिसे समय की जरूरत होती है, ये एक दूसरे के काम बांट लेती हैं। इस पहल के कारण अब महिलाएं न सिर्फ अपने लिए वक्त निकाल पा रही हैं, बल्कि सामाजिक रूप से भी जुड़ रही हैं। इस प्रोग्राम को 'मॉम्स नाइट आउट' नाम दिया गया है।
अमेरिका में पेन्सिलवेनिया प्रांत के छोटे से हिस्से पिट्सबर्ग में शुरू हुई यह पहल सोशल मीडिया के जरिए अमेरिका के दूसरे शहरों में भी लोकप्रिय हो रही है। हीथर हॉप्सन नाम की अश्वेता महिला ने पहले महिलाओं का एक परवरिश समूह बनाया। इसमें मिहलाएं एक दूसरे के घरेलू कामों में मदद करती हैं। इसके बाद इसमें फूड डिलीवरी सिस्टम शुरू किया गया।
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हॉप्सन बताती हैं कि वीकेंड पर भी महिलाओं का घर के कामों में ही समय निकल जाता है। वे अपने लिए वक्त नहीं निकाल पाती हैं। ऐसे में उन्होंने कई लोगों के साथ मिलकर एक सपोर्ट सिस्टम बनाया। इसमें खानपान से जुड़ी संस्था भी जुड़ गईं। अब हर वीकेंड पर महिलाओं के घर खाना डिलीवर होता है। अब तक इस समूह से 100 से ज्यादा सिंगल मदर जुड़ गई हैं। हॉप्सन ने बताया कि अब महिलाएं हल्का महसूस कर रही हैं। कई सारे वर्चुअल कार्यक्रमों के जरिये वे एक दूसरे से जुड़ रही हैं। अपने-अपने शौक पूरा करने के लिए वक्त निकाल पा रही हैं।
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